मराठवाड़ा में हिंसक हुआ आंदोलन, मुंबई बंद, वाहनों में तोड़फोड़, दुकानें बंद करार्इं

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मुंबई। मराठा आरक्षण को लेकर चल रहे आंदोलन की आंच मुंबई तक पहुंच गई है। बुधवार को मुंबई में बंद के दौरान ठाणे से हिंसा की घटनाएं सामने आ रही हैं। ठाणे के वेगल एस्टेट इलाके में नगर परिवगहन की एक बस पर तोड़फोड़ की गई। वहीं गोखले रोड खुली दुकानों के जबरन शटर गिरा दिए गए। इसके अलावा मजीवाड़ा पुल पर टायर जलाने की तस्वीरें सामने आ रही हैं। जबकि मराठा क्रांति मोर्चा शांतिपूर्ण प्रदर्शन की बात कर रहा है।
Violent Movement in Marathwada, Mumbai Off, Demolition of Shops, Shutting Off Shops
ठाणे के गोखले रोड स्थित कुछ खुली दुकानें देखकर मराठा क्रांति मोर्चा के कार्यकतार्ओं ने जबरन शटर गिरा दिए। जबकि मराठा क्रांति मोर्चा का कहना है कि वह शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहा है। एक कार्यकर्ता ने कहा, ‘हम कोई सड़क ब्लॉक नहीं कर रहे हैं। हम शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे हैं। हमने अपने कार्यकतार्ओं को बता दिया है कि हमारे प्रदर्शन की वजह से पुलिस और सरकार को कोई असुविधा नहीं होनी चाहिए। हम लोगों ने अपनी दुकानें बंद करने का आग्रह कर रहे हैं।’

बता दें कि मुंबई, ठाणे, पालघर और रायगड में बंद का ऐलान किया गया है। इससे पहले मंगलवार को आंदोलन के दौरान 5 लोगों ने जान देने की कोशिश की। हालांकि पुलिस ने इन मामलों के पीछे वजह के रूप में मराठा आरक्षण को स्पष्ट नहीं किया है। वहीं एक कॉन्स्टेबल की आॅन ड्यूटी हृदय गति रुकने से मौत हो गई।

5 लोगों ने जान देने की कोशिश की
देवगांव रंगरी निवासी एक किसान ने औरंगाबाद ग्रामीण इलाके में जहर पीकर जान देने की कोशिश की। किसान का नाम जगन्नाथ सोनावणे (50) बताया जा रहा है। बताया जा रहा है कि उनका खेत उस पुल के बगल में स्थित था जहां आंदोलन चल रहा था। जगन्नाथ के परिवार का दावा है कि उन्होंने मराठा आरक्षण आंदोलन के चलते जान देने की कोशिश की जबकि औरंगाबाद एसपी आरती सिंह ने कहा कि अभी इस बात की पुष्टि नहीं हुई है कि यह मामला आंदोलन से जुड़ा था या नहीं।

एक दूसरे किसान जयेंद्र सोनवणे (28) ने शिवना नदी के पास स्थित कुएं में कूदकर जान देने की कोशिश की। उनके दोनों पैर में कई फ्रैक्चर हो गए हैं। बीड में अपनी मांगों के साथ तहसीलदार के पास पहुंचे शिष्टमंडल के दो सदस्यों ने छत से कूदकर आत्महत्या का प्रयास किया। हालांकि पुलिस ने उन्हें रोकने में कामयाब रही। वहीं लातूर के शिवाजी चौक पर एक मराठा युवक ने खुद पर पेट्रोल छिड़क जान देने की कोशिश की।

बंद में मेडिकल कॉलेज ऐंबुलेंस शामिल नहीं
मराठा क्रांति मोर्चा समन्वय समिति द्वारा बुलाए गए बंद का असर मुंबई में देखने को मिल रहा है। सड़कें पूरी तरह खाली हैं, आॅटोरिक्शा भी नहीं चल रहे हैं।मंगलवार दादर के राजर्षि शाहू सभागृह में मराठा क्रांति मोर्चे की बैठक में फैसला किया गया कि बंद में स्कूल-कॉलेजों, मेडिकल स्टोर, ऐंबुलेंस और मूलभूत सुविधाओं को शामिल नहीं किया गया है।

बंद के दौरान किसी प्रकार की हिंसा या तोड़फोड़ नहीं होगी। बता दें कि सोमवार को प्रदर्शन के दौरान नदी में कूदकर एक शख्स की खुदकुशी के विरोध में मंगलवार को महाराष्ट्र बंद बुलाया गया। नवी मुंबई और पनवेल में सब्जी और फल बाजार को छोड़कर बाकी सभी प्याज, आलू, मसाला और अनाज मंडी आदि बंद रखे जाएंगे। मोर्चे ने बंद के लिए जनता से समर्थन मांगा है।

स्कूल-कॉलेजों पर भ्रम
मराठा आंदोलन के कारण बुधवार को मुंबई में स्कूल और कॉलेज बंद होने पर स्थिति साफ नहीं हुई है। शिक्षा मंत्री विनोद तावडे ने कहा कि मराठा समाज ने बुधवार को बंद का आह्वान किया है। स्कूल और कॉलेजों को बंद रखने के लिए स्थानीय पुलिस और जिला प्रशासन निर्णय लेंगे।