नई दिल्ली: सरकार के लिये इस साल अंत तक हर घर बिजली पहुंचाने का महत्वकांक्षी लक्ष्य हासिल करना आसान नहीं है. अगले साल आम चुनावों से पहले इस कार्यक्रम को 31 दिसंबर तक पूरा करने के लिये हर महीने 45 लाख से अधिक घरों में बिजली पहुंचानी होगी जबकि अभी औसतन करीब 18 लाख घरों में बिजली पहुंचायी जा रही है. वहीं कई घरों के दूरदराज इलाकों में होने, वहां तक तार, ट्रांसफार्मर, खंभों, सब-स्टेशन के लिये जरूरी सामान पहुंचाने की समस्या एवं ठेकेदारों की कमी जैसे मसले इस महत्वपूर्ण योजना के लिये बड़ी चुनौतियां हैं.
By December 31, every home will not be able to provide electricity, yet will be complete
हालांकि, सहज बिजली हर घर योजना (सौभाग्य) के लिये नोडल एजेंसी के रूप में काम कर रही रूरल इलेक्ट्रिफिकेशन कारपोरेशन (आरईसी) के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक (सीएमडी) डॉ पी वी रमेश का कहना है, यह सरकार का महत्वपूर्ण कार्यक्रम है. कई चुनौतियां हैं लेकिन इसे हर हाल में पूरा किया जाएगा.नौतियों के बारे में पूछे जाने पर रमेश ने कहा, कार्यक्रम को पूरा करने के रास्ते में कई चुनौतियां हैं. जिन घरों में बिजली पहुंचानी हैं वे रिहायशी इलाके से काफी दूर हैं. कुछ घर तो ऐसे हैं जहां दीवार तक नहीं है. दूसरा, दूरी की वजह से वहां तक पोल ले जाने, तार ले जाने और ट्रांसफार्मर सब-स्टेशन के लिये सामान पहुंचाने की चुनौती है. मीटर, तार, ट्रांसफर्मर, पोल जैसी सामग्री की उपलब्धता की भी समस्या है.
इससे निपटने के बारे में पूछे जाने पर रमेश ने कहा, हम जरूरी सामग्री एकमुश्त केंद्रीय स्तर पर खरीद रहे हैं. जहां ठेकेदार नहीं मिल रहे, वहां विभाग अपने स्तर पर काम कर रहा है. वहीं दूरदराज क्षेत्रों में सौर संयंत्र लगाने की मंजूरी दी गयी है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिछले साल सितंबर आखिर में इस योजना की शुरूआत की जिसके तहत बिजली से वंचित सभी घरों को मार्च 2019 तक बिजली पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया. लेकिन अगले साल होने वाले आम चुनावों के कारण सरकार अब इसे दिसंबर, 2018 में ही पूरा करने पर जोर दे रही है.
बिजली मंत्रालय के सौभाग्य डैशबोर्ड के अनुसार अब तक बिजली से वंचित कुल 3.80 करोड़ घरों में से 62.43 लाख घरों तक बिजली पहुंचायी गयी है. वहीं अगले सात महीने में लगभग 3.18 करोड़ घरों को बिजली पहुंचानी होगी. यानी औसतन हर महीने 45 लाख से अधिक घरों को बिजली पहुंचानी होगी. वहीं अक्तूबर, 2017 से अब तक औसतन हर महीने करीब आठ लाख घरों को बिजली उपलब्ध करायी गयी. इस लिहाज से हर घर बिजली पहुंचाने का काम चुनौतीपूर्ण लगता है.
इस बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, हाल में इसमें तेजी आयी है. अब हर महीने 18 लाख घरों में बिजली पहुंचायी जा रही है. इसमें आने वाले समय में और तेजी लायी जाएगी. बिजली से वंचित कुल घरों में सर्वाधिक 1,40,49,432 उत्तर प्रदेश में हैं. इसके बाद ओड़िशा (33,26,335), बिहार (31,47,024), राजस्थान (19,49,355), मध्य प्रदेश (8,80,826) और कर्नाटक (5,34,650) का स्थान है. आरईसी के अनुसार लगभग 18 लाख कस्बे, टोले हैं जहां बिजली से वंचित ये परिवार रह रहे हैं. इन टोलों, कस्बों में कुछ घरों में विद्युतीकरण का काम हो गया है जबकि कुछ अभी बचे हैं.