बेंगलुरु। कर्नाटक में सरकार बनाने के लिए कांग्रेस और जेडीएस की कोशिशें येद्दयुरप्पा के शपथ ग्रहण के बाद भी जारी हैं। विधायकों की संख्या की गणित न बिगड़े इसके लिए कांग्रेस सारे दाव-पेंच चल रही है। कर्नाटक की कुर्सी के लिए जैसे कांग्रेस ने सुप्रीम कोर्ट के दरवाजे आधी रात खुलवा दिये, वैसे ही उसने आधी रात को अपने विधायकों को बेंगलुरु के रिजॉर्ट से निकालकर बस से हैदराबाद शिफ्ट कर दिया। रात 12 बजे दोनों दलों के विधायकों को लेकर 3 बस बेंगलुरु से हैदराबाद के लिए चली, जो सुबह 9 बजे पहुंचीं।
Congress sent MLAs from Karnataka Resort at midnight to Hyderabad
विधायकों के बारे में जब जेडीएस नेता एच डी कुमारस्वामी से पूछा गया, तो उन्होंने कहा कि विधानसभा में विश्वासमत हासिल करने से पहले विधायकों की खरीद-फरोख्त को रोकने के लिए कांग्रेस और जेडीएस के विधायकों को एक साथ एक स्थान पर रखा गया है।
मीडिया से बात करते हुए कुमारस्वामी ने कहा, डरने का कोई सवाल नहीं है, लेकिन हमने पिछले अनुभवों के कारण कुछ सावधानी बरतनी है। हम विधायकों की खरीद-फरोख्त को बढ़ावा नहीं देते। इसे रोकने के लिए सारे विधायक (कांग्रेस+जेडीएस) एक साथ रहेंगे। भाजपा पर अपनी शक्ति का दुरुपयोग करने का आरोप लगाते हुए कुमारस्वामी ने कहा कि उनके कई विधायकों को भाजपा ने संपर्क किया है। उन्होंने कहा, भाजपा सत्ता का दुरुपयोग कर रही है। वे सभी संवैधानिक संस्थानों का दुरुपयोग करने में मास्टर है। जेडीएस और कांग्रेस के सभी विधायक एक ही स्थान पर एकजुट रहेंगे।
गौरतलब है कि गुरुवार को बीएस येद्दयुरप्पा ने राज्य के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। सबसे बड़ी पार्टी होने के नाते राज्यपाल ने भाजपा को सरकार बनाने का न्योता दिया था। राज्यपाल के फैसले के खिलाफ कांग्रेस और जेडीएस ने बुधवार देर रात सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की। वहीं, बुधवार को सर्वोच्च न्यायालय ने येद्दयुरप्पा के शपथ ग्रहण पर रोक लगाने से इनकार कर दिया था।
कुर्सी की लड़ाई, कांग्रेस का दावा
भाजपा के पास 104 विधायक हैं, फिर भी वह बहुमत के आंकड़े से पीछे है। बहुमत के लिए उसे 8 और विधायकों के समर्थन की जरूरत है। विधानसभा में बहुमत साबित करने के लिए भाजपा को 15 दिन का वक्त दिया गया है। वहीं कांग्रेस के पास 78 विधायक हैं। कांग्रेस खुद के विधायकों के अलावा जेडीएस, एक बसपा और एक निर्दलीय के समर्थन का दावा कर रही है। जिसकों मिलाकर कुल संख्या 117 होती है। इस बीच कुमारस्वामी ने कहा कि वह सर्वोच्च न्यायालय के फैसले से चिंतित नहीं हैं, क्योंकि वे विधानसभा में अपनी ताकत दिखाएंगे।