नई दिल्ली। सरकार बुनियादी ढांचागत परियोजनाओं की कर्ज तक पहुंच बढ़ाने के लिए जुलाई में 500 करोड़ रुपये का क्रेडिट इन्हांसमेंट फंड (सीईएफ) लांच कर सकती है। वित्त मंत्रालय में इन्फ्रास्ट्रक्चर, पॉलिसी और फाइनेंस के संयुक्त सचिव कुमार विनय प्रताप ने यह जानकारी देते हुए कहा कि इन्फ्रा परियोजनाओं में इंश्योरेंस और पेंशन फंड्स के जरिये कर्ज को विस्तार दिया जाएगा।
Government to launch 500 crores credit enhancement fund
प्रताप ने कहा, सरकार इन्फ्रा परियोजनाओं को कर्ज मुहैया कराने के लिए एक समर्पित फंड लांच कर रही है। इसका मकसद इन्फ्रा कंपनियों द्वारा जारी बांड्स की रेटिंग को मजबूती देना और पेंशन और तथा इंश्योरेंस फंड्स जैसे निवेशकों को सुविधा प्रदान करना है। यह फंड अगले महीने लांच कर दिए जाने की पूरी संभावना है। उन्होंने कहा कि फंड के तहत शुरूआती 500 करोड़ रुपये इंडिया इन्फ्रास्ट्रक्चर फाइनेंस कंपनी लिमिटेड (आइआइएफसीएल) द्वारा प्रायोजित होंगे।
सरकार ने वित्त वर्ष 2016-17 के लिए आम बजट पेश करते हुए पहली बार क्रेडिट इन्हांसमेंट फंड स्थापित करने की बात कही थी। योजना के मुताबिक सीईएफ में आइआइएफसीएल की 22.5 फीसद हिस्सेदारी होगी। वहीं, एशियन इन्फ्रास्ट्रक्चर इंवेस्टमेंट बैंक (एआइआइबी) ने फंड में 10 फीसद हिस्सेदारी लेने की स्वीकृति दी है।
यह भी कहा कि सार्वजनिक क्षेत्र के कर्जदाता एसबीआइ, बैंक आॅफ बड़ौदा तथा एलआइसी ने भी हिस्सेदारी लेने की स्वीकृति दी है। प्रताप ने कहा कि वर्तमान में इन्फ्रा कंपनियों में निवेश को लेकर एक तरह का असंतुलन है। इन्फ्रास्ट्रक्चर फाइनेंस कंपनियों द्वारा जारी बांड्स की रेटिंग मुख्य तौर पर बीबीबी होती है, जबकि पेंशन और इंश्योरेंस फंड्स जैसे लंबी अवधि के निवेशकों को न्यूनतम ‘एए’ रेटिंग में ही निवेश की इजाजत होती है।