मुंबई/लखनऊ
विस्तारा की फ्लाइट से मुंबई से दिल्ली आ रहे 153 विमान यात्रियों की जिंदगी उस वक्त खतरे में पड़ गई, जब तकरीबन चार घंटे की उड़ान के बाद एयरक्राफ्ट के फ्यूल टैंक में महज पांच मिनट का ईंधन बचा था। दिल्ली जा रहे विमान को पहले लखनऊ डायवर्ट किया गया, फिर इसे प्रयागराज भेजा गया लेकिन वहां पहुंचने से पहले ही फ्लाइट को फिर लखनऊ वापस आना पड़ा। लो विजिबिलिटी की वजह से लैंडिंग में दिक्कत आ रही थी और आखिरकार जब पायलटों ने इमर्जेंसी मेसेज भेजकर विमान को लखनऊ एयरपोर्ट पर उतारा तो फ्यूल टैंक तकरीबन खाली था।
अच्छे मौसम और लखनऊ एयर ट्रैफिक कंट्रोलर (वायु यातायात नियंत्रक) की मुस्तैदी की वजह से एयरक्राफ्ट किसी हादसे का शिकार होने से बच गया। लखनऊ से प्रयागराज के बमरौली एयरपोर्ट की तकरीबन 200 किमी दूरी तय करने के लिए विमान में पर्याप्त ईंधन नहीं था। फाइट रेडार 24 के डेटा के मुताबिक प्रयागराज के रास्ते में 7 मिनट का सफर पूरा करने के बाद एयरक्राफ्ट को लखनऊ वापस आना पड़ा, जहां 20 मिनट के अंदर इसकी लैंडिंग हुई।
‘5 मिनट का फ्लाइंग टाइम बचा था’
पायलट तभी विमान को लखनऊ वापस ला सके, जब एटीसी ने उन्हें बताया कि लखनऊ का मौसम साफ हो चुका है। एक सूत्र ने हमारे सहयोगी टाइम्स ऑफ इंडिया को बताया, ‘जब विमान लखनऊ मैं लैंड हुआ तो इसके फ्यूल टैंक में 200 किलोग्राम या 5 मिनट का फ्लाइंग टाइम बचा था।’ सूत्र ने बताया कि ए-320 नियो एयरक्राफ्ट की ऑपरेटिंग फ्लाइट UK944 मुंबई से दोपहर 2.40 बजे 8,500 किलो ईंधन के साथ रवाना हुई थी। मुंबई और दिल्ली के बीच का फ्लाइंग टाइम दो घंटे से कम का है। मामले की जांच कर रहे डीजीसीए ने के दोनों पायलटों के विमान उड़ाने पर रोक लगा दी है।