श्रीलंका के राष्ट्रपति ने कहा मुझे ऐसी रिपोर्ट मिली हैं, हमलावर भारत गए थे, लेकिन मेरे अधिकारियों ने भारत का इससे कोई संबंध नहीं बताया

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श्रीलंका के राष्ट्रपति मैत्रिपाला रिसिसेना ने  कहा कि उन्हें देश की सुरक्षा एजेंसी से कोई रिपोर्ट नहीं मिली है, जिसमें कहा गया हो कि ईस्टर हमले के पीछे जो आत्मघाती हमलावर थे, वो भारत गए हों। उन्होंने एक न्यूज कॉन्फ्रेंस में कहा, “मुझे ऐसी रिपोर्ट मिली हैं, जिनमें कहा गया है कि वो (हमलावर) भारत गए थे। लेकिन मेरे अधिकारियों ने अभी तक भारत का इससे कोई संबंध नहीं बताया है।”

राष्ट्रपति के इस बयान से पहले श्रीलंका के सेना प्रमुख, लेफ्टिनेंट जनरल महेश सेनायके ने एक समाचार वेबसाइट को इंटरव्यू देते हुए कहा था कि ईस्टर बम धमाकों के पीछे जो हमलावर हैं, वह भारत के कश्मीर, बंगलूरू और केरल में गए थे। वो यहां या तो प्रशिक्षण के लिए गए थे या फिर अन्य संगठनों से संबंध स्थापित करने।

बीमस्टेक देश के प्रमुखों के साथ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शपथ ग्रहण समारोह में आए सिरिसेना ने कहा कि उन्हें श्रीलंका के रक्षा प्रमुखों ने भारतीय खुफिया एजेंसी द्वारा भेजे गए अलर्ट के बारे में कुछ नहीं बताया था। ये अलर्ट 21 अप्रैल को हुए बम धमाकों को लेकर भेजा गया था।

उन्होंने कहा कि भारतीय एजेंसियों ने श्रीलंका को 4 अप्रैल को एक स्पष्ट रिपोर्ट भेजी थी। जिसमें संभावित हमले की जानकारी दी गई थी। इस मुद्दे पर रक्षा सचिव और पुलिस महानिरीक्षक के बीच पत्रों और पत्राचार का आदान-प्रदान किया गया था।

उन्होंने आगे कहा, “मैं 4 अप्रैल से 16 अप्रैल तक श्रीलंका में था… हालांकि, किसी भी सेना प्रमुख ने मुझे इसकी जानकारी नहीं दी। अगर मुझे इसकी जानकारी होती तो मैं देश को कभी छोड़कर कभी नहीं जाता। इसीलिए मैंने रक्षा सचिव और पुलिस महानिरीक्षक को हटाने की कार्रवाई की है।” उन्होंने कहा कि बम धमाकों के बाद जांच में भारत, ब्रिटेन और अमेरिका ने श्रीलंका का साथ दिया है।

सिरिसेना ने आगे कहा, “जांच में पता चला है कि हमले का सारा संचालन अंतरराष्ट्रीय संगठन के माध्यम से हुआ है। श्रीलंका के आतंकियों ने वहां से प्रशिक्षण लिया, जहां अंतरराष्ट्रीय आतंकी समूह संचालित हैं।” जो आतंकी थे वो अमीर घरों से थे, अभी तक ऐसा कोई सबूत नहीं मिला है कि उन्हें बाहरी सूत्रों से पैसा मिला हो।