आंधी बनी आफत: उत्तर भारत अब तक 65 लोगों की मौत, कई घायल

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आगरा/जयपुर। राजस्थान और पश्चिमी यूपी समेत उत्तर भारत के कई इलाकों में बुधवार आधी रात को आए रेतीले तूफान में अब तक कम से कम 65 लोगों की मौत हो गई है और बड़ी संख्या में लोग घायल हो गए हैं। आंधी से शाम को पारा 10 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया। मौसम विशेषज्ञों के मुताबिक पश्चिमी विक्षोभ के कारण आए इस भीषण तूफान ने आम जनजीवन को तहस-नहस कर दिया।
Tornado accidents: North India so far 65 people, many injured
इसके अलावा पंजाब के भी कुछ इलाकों में तूफान की वजह से लोग प्रभावित हुए हैं। आपदा प्रबंधन विभाग ने पश्चिमी यूपी के 6 जिलों में 44 लोगों के मौत की पुष्टि की है। इनमें से 36 लोगों की मौत अकेले आगरा में हुई है। इसके अलावा बिजनौर में 3, सहारनपुर में 2, चित्रकूट, रायबेरली और बरेली में 1-1 व्यक्ति की मौत तूफान की चपेट में आने से हो गई। वहीं कानपुर देहात में भी दो लोगों की मौत की खबर है। उधर, यूपी के राजस्व और राहत आयुक्त संजय कुमार ने कहा है कि मरने वालों की संख्या अभी बढ़ सकती है।

तूफान से टेढ़ा हुआ बिजली का पोल
उन्होंने बताया कि आगरा तूफान से सबसे ज्यादा प्रभावित हुआ। संजय ने कहा कि सभी प्रभावित लोगों को 24 घंटे के अंदर राहत सामग्री मुहैया करायी जाएगी। बताया जा रहा है कि 150 से अधिक पशुओं की भी आंधी से मौत हुई है। राज्य सरकार ने मृतकों के परिजनों को 24 घन्टे में 4 लाख रुपए मुआवजा देने की घोषणा की है। इसके अलावा गंभीर रूप से घायल लोगों को 50 हजार रुपए की सहायता देने के निर्देश दिए गए हैं।

उधर, राजस्थान के बीकानेर, भरतपुर, अलवर और धौलपुर में तूफान से सबसे ज्यादा नुकसान पहुंचा है। तूफान की गति करीब 135 किमी प्रतिघंटा थी। इससे इन जिलों में सैंकड़ों पेड़ और बिजली के पोल उखड़ गए। चूरू, पिलानी, दौसा और झुंझनूं में ओलावृष्टि भी हुई है। मौसम विज्ञानियों के मुताबिक अगले 48 घंटे में प्रदेश के कई हिस्सों में हल्की बारिश, अंधड़ और लू चल सकता है।

तूफान से क्षतिग्रस्त कार
राजस्थान की राजधानी जयपुर में भी तेज हवाएं चलीं और कई इलाकों में बूंदाबादी हुई। हालात को देखते हुए प्रशासन ने सभी जिलों में एनडीआरएफ और एसडीआरएफ के जवानों को तैनात कर दिया है। बताया जा रहा है कि आंधी की वजह से जान और माल का काफी नुकसान हुआ है। तेज आंधी से अलवर में कारों से भरा ट्रक पलट गया और भरतपुर में एक निजी अस्पताल की छत उड़ गई।

तूफान से अंधेरा सा छा गया
मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया ने मंत्रियों और अधिकारियों को तूफान प्रभावित इलाकों में राहत और बचाव कार्य शुरू करने का निर्देश दिया है। उन्होंने लोगों की मौत पर दुख जताया है। उन्होंने बताया कि गुलाब चंद्र कटारिया को अलवर और अरुण चतुवेर्दी को धौलपुर की जिम्मेदारी दी गई है। सीएम ने कहा कि संकट की इस घड़ी में राज्य सरकार तूफान प्रभावित लोगों के साथ खड़ी है और उनकी हर संभव मदद की जाएगी।